IAHS 2025: आईआईटी रुड़की में अंतर्राष्ट्रीय जल विज्ञान संघ की 12वीं वैज्ञानिक सभा का उद्घाटन

IAHS 2025: आईआईटी रुड़की में अंतर्राष्ट्रीय जल विज्ञान संघ की 12वीं वैज्ञानिक सभा का उद्घाटन
भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान रुड़की में आज अंतर्राष्ट्रीय जल विज्ञान संघ (IAHS) की बारहवीं वैज्ञानिक सभा का भव्य उद्घाटन किया गया। इस सम्मेलन में दुनिया भर के प्रमुख वैज्ञानिक, शोधकर्ता और नीति निर्माता एकत्रित हुए, ताकि सतत जल संसाधन प्रबंधन, जल विज्ञान में नवाचार और जलवायु परिवर्तन के प्रति सहनशीलता पर विचार-विमर्श किया जा सके।
मुख्य अतिथि के रूप में मुख्य सचिव उत्तराखण्ड आनंद बर्द्धन ने सत्र का उद्घाटन किया और आईआईटी रुड़की तथा आईएएचएस की सराहना करते हुए कहा कि जल विज्ञान अनुसंधान का सामाजिक अनुप्रयोग और वैश्विक योगदान अत्यंत महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि जल विज्ञान जलवायु परिवर्तन के प्रति लचीलापन, आपदा जोखिम न्यूनीकरण और सतत विकास के लिए अहम है। आईआईटी रुड़की जैसे संस्थान वैश्विक ज्ञान को स्थानीय समाधानों से जोड़ने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, जिससे समुदाय और नीति निर्माता दोनों सशक्त होते हैं।
आईआईटी रुड़की में आयोजित यह आईएएचएस वैज्ञानिक सभा नवाचार, सहयोग और ज्ञान आदान-प्रदान के माध्यम से वैश्विक जल चुनौतियों के समाधान के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाती है। यह सभा भारत में जल विज्ञान अनुसंधान और सतत जल प्रबंधन में अग्रणी भूमिका को और सुदृढ़ करती है।
आईआईटी रुड़की के निदेशक प्रो. के.के. पंत ने कहा कि यह छह दिवसीय सभा नए विचारों, दीर्घकालिक साझेदारियों और परिवर्तनकारी नवाचारों को प्रेरित करेगी, जो जल विज्ञान और समाज दोनों के लिए सार्थक योगदान देंगी। इस अवसर पर आईएएचएस वैज्ञानिक सभा 2025 की कार्यवाही का विमोचन भी किया गया, जो एक सप्ताह तक चलने वाले वैज्ञानिक विचार-विमर्श, तकनीकी सत्रों, प्रदर्शनी और अंतरराष्ट्रीय सहयोगों की शुरुआत का प्रतीक है।
इस आयोजन में आईआईटी रुड़की के निदेशक प्रो. के.के. पंत, आईएएचएस के अध्यक्ष प्रो. साल्वातोरे ग्रिमाल्डी, आईएनएसए के उपाध्यक्ष एवं सीएसआईआर-एनईआईएसटी के निदेशक डॉ. वी.एम. तिवारी, आईएएचएस एसए 2025 के अध्यक्ष प्रो. सुमित सेन और संयोजक प्रो. अंकित अग्रवाल सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।