HEOC Uttarakhand: उत्तराखंड को मिला स्वास्थ्य सुरक्षा का बड़ा तोहफा, बनेगा हेल्थ इमरजेंसी ऑपरेशन सेंटर
देहरादून: प्रधानमंत्री आयुष्मान भारत स्वास्थ्य अवसंरचना मिशन (PM-ABHIM) के अंतर्गत केंद्र सरकार ने उत्तराखंड को स्वास्थ्य सुरक्षा का बड़ा तोहफा दिया है। केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने राज्य में हेल्थ इमरजेंसी ऑपरेशन सेंटर (HEOC) की स्थापना को मंजूरी प्रदान की है। इस सेंटर का उद्देश्य स्वास्थ्य आपदाओं के दौरान राज्य की तैयारी और प्रतिक्रिया क्षमता को और अधिक सशक्त बनाना है।
मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि HEOC के संचालन हेतु कुल नौ संविदा पदों को स्वीकृति दी गई है। इनमें वरिष्ठ सार्वजनिक स्वास्थ्य सलाहकार, सार्वजनिक स्वास्थ्य सलाहकार, डेटा विश्लेषक, हब इंजीनियर और डेटा एंट्री ऑपरेटर जैसे पद शामिल हैं। इन पदों पर संविदा आधार पर नियुक्ति प्रक्रिया राज्य सरकार शीघ्र शुरू करेगी। निधि हस्तांतरण के लिए HEOC के नाम से एक अलग बैंक खाता भी खोला जाएगा।
केंद्रीय मंत्रालय के अनुसार HEOC के लिए वित्तीय सहायता PM-ABHIM की परियोजना अवधि 2021–26 तक उपलब्ध कराई जाएगी। इसके बाद इस योजना की निरंतरता आगे की स्वीकृति पर निर्भर करेगी। राज्य सरकार से अनुरोध किया गया है कि वह नियुक्ति और संचालन की प्रक्रिया में तेजी लाए, ताकि यह सेंटर जल्द से जल्द कार्यशील हो सके।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस घोषणा को उत्तराखंड के लिए ऐतिहासिक बताया। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने उत्तराखंड को स्वास्थ्य सुरक्षा का बड़ा तोहफा दिया है। हेल्थ इमरजेंसी ऑपरेशन सेंटर की स्थापना से राज्य की स्वास्थ्य आपदा प्रबंधन क्षमता और मजबूत होगी। इसके माध्यम से आपात स्थितियों में समय पर और समन्वित कार्रवाई संभव हो सकेगी। मैं प्रधानमंत्री और केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री का हृदय से आभार व्यक्त करता हूँ।”
स्वास्थ्य सचिव डॉ. आर. राजेश कुमार ने कहा कि HEOC से आपात परिस्थितियों में राज्य को तेजी से और प्रभावी ढंग से प्रतिक्रिया करने में मदद मिलेगी। उन्होंने बताया कि नियुक्तियों की प्रक्रिया शीघ्र शुरू होगी और सेंटर को जल्द ही क्रियाशील बनाया जाएगा। यह सेंटर आपात स्थितियों के दौरान समयबद्ध प्रतिक्रिया और बेहतर समन्वय सुनिश्चित करेगा, जिससे आम जनता को सीधा लाभ मिलेगा।
राष्ट्रीय स्तर पर भी HEOC की स्थापना को भारत की सार्वजनिक स्वास्थ्य अवसंरचना और आपदा प्रतिक्रिया तंत्र को मजबूत बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है। इससे पूरे देश में स्वास्थ्य आपात स्थितियों के दौरान बेहतर प्रबंधन और समन्वित कार्यवाही सुनिश्चित होगी।