उत्तराखंड सहकारिता में क्रान्ति: 50 लाख लोगों को जोड़ने और स्थानीय उत्पादों को विश्व मंच पर ले जाने का लक्ष्य-
उत्तराखंड सहकारिता में क्रान्ति: 50 लाख लोगों को जोड़ने और स्थानीय उत्पादों को विश्व मंच पर ले जाने का लक्ष्य-
अहमद हसन:-
सहकारिता मंत्री धन सिंह रावत ने हरिद्वार मेले में किया प्रतिभाग; महिला सशक्तिकरण और आत्मनिर्भरता पर जोर
हरिद्वार, उत्तराखंड: 05 दिसंबर 2025
उत्तराखंड के स्वास्थ्य, शिक्षा और सहकारिता मंत्री धन सिंह रावत ने आज हरिद्वार के ऋषिकुल मैदान में आयोजित सहकारिता मेले 2025 के चौथे दिन मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की। दीप प्रज्वलन के साथ कार्यक्रम का शुभारंभ करते हुए मंत्री रावत ने घोषणा की कि उत्तराखंड राज्य सहकारिता के क्षेत्र में एक नई पहचान स्थापित कर रहा है और इसका लक्ष्य स्थानीय उत्पादों को विश्व स्तर पर ब्रांड बनाना है।

🇮🇳 राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष और महत्वाकांक्षी लक्ष्य
मंत्री रावत ने बताया कि पूरे भारतवर्ष में ‘सहकारिता वर्ष’ मनाया जा रहा है, जिसके तहत प्रदेश के सभी 13 जिलों में मेलों का आयोजन किया जा रहा है। इन मेलों का मुख्य उद्देश्य अधिक से अधिक स्वयं सहायता समूहों (SHGs) और महिला समूहों को सहकारिता आंदोलन से जोड़ना है।
जन जुड़ाव का विस्तार: सहकारिता विभाग ने अब तक 30 लाख लोगों को जोड़ा है, और इस संख्या को 50 लाख तक पहुँचाने का महत्वाकांक्षी लक्ष्य निर्धारित किया है।

ग्लोबल ब्रांडिंग: उनका प्राथमिक जोर स्थानीय उत्पादों की ब्रांडिंग को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय बाजारों तक पहुँचाना है, जिससे उत्तराखंड के उत्पादों को विश्व स्तर पर पहचान मिल सके।

महिला सशक्तिकरण: नेतृत्व में 33% आरक्षण
सहकारिता के क्षेत्र में महिलाओं की बढ़ती भागीदारी पर मंत्री ने विशेष बल दिया। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड सरकार ने महिलाओं के लिए 33 प्रतिशत आरक्षण सुनिश्चित किया है।
पद चुनी गई महिलाओं की संख्या
कॉपरेटिव सोसाइटी अध्यक्ष 250
कॉपरेटिव सोसाइटी उपाध्यक्ष 160
सहकारिता बोर्ड सदस्य 2500
मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और सहकारिता मंत्री अमित शाह के नेतृत्व में सहकारिता विभाग को अलग पहचान मिली है। राज्य में महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए ‘लखपति दीदी’ बनाने का लक्ष्य भी निर्धारित किया गया है, जिसके तहत हर जिले में 3 लाख महिलाओं को लखपति बनाने का कार्य निरंतर जारी है।

सहकारिता की मजबूती के लिए आधारभूत कदम
सहकारिता आंदोलन की जड़ों को मजबूत करने के लिए उठाए जा रहे कदमों में शामिल हैं:
हर गाँव में सोसाइटी: हर गाँव में एक सोसाइटी बनाने पर जोर।
1200 नई सोसाइटियाँ: प्रदेश में 1200 नई कॉपरेटिव सोसाइटियों का निर्माण किया जा रहा है।

लाभार्थियों को प्रोत्साहन और सम्मान
कार्यक्रम के दौरान विभिन्न योजनाओं के पात्र व्यक्तियों और समूहों को वित्तीय सहायता और सम्मान प्रदान किए गए:
अलंकारिक मत्स्य जीवी समिति: ₹15.60 लाख का चेक।
गणेश आजीविका स्वयं सहायता समूह: ₹6 लाख का चेक।
उत्कृष्ट प्रदर्शन: सहकारिता मत्स्य जीवी समिति, मानिकपुर आदमपुर ब्लॉक को उत्कृष्ट मत्स्य प्रदर्शन के लिए प्रमाण पत्र दिया गया।

ऋण वितरण: दीन दयाल उपाध्याय सहकारिता किशन योजना के तहत 10 लाभार्थियों को ऋण के चेक वितरित किए गए।
इस अवसर पर बच्चों द्वारा मलखम का हैरतअंगेज प्रदर्शन, योग अभ्यास और सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किए गए, जिसकी मंत्री रावत ने प्रशंसा की।
कार्यक्रम में अपर निबंधक सहकारिता विभाग ए डी शुक्ला, सह मीडिया संयोजक विकास तिवारी, सुशील त्यागी, पूर्व सहकारिता के जिलाध्यक्ष प्रदीप चौधरी सहित कई वरिष्ठ अधिकारी, प्रतिनिधि और स्थानीय जनता उपस्थित रही।