• July 18, 2025

Jageshwar Dham Mela 2025: श्रावणी मेला 2025 का उद्घाटन, सीएम धामी ने जागेश्वर धाम की सांस्कृतिक विरासत को बताया गौरव

 Jageshwar Dham Mela 2025: श्रावणी मेला 2025 का उद्घाटन, सीएम धामी ने जागेश्वर धाम की सांस्कृतिक विरासत को बताया गौरव
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Jageshwar Dham Mela 2025: श्रावणी मेला 2025 का उद्घाटन, सीएम धामी ने जागेश्वर धाम की सांस्कृतिक विरासत को बताया गौरव

उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बुधवार को अल्मोड़ा जिले के जागेश्वर धाम में आयोजित श्रावणी मेले 2025 के शुभारंभ अवसर पर वर्चुअल माध्यम से प्रतिभाग किया। इस अवसर पर उन्होंने श्रद्धालुओं, आयोजन समिति और स्थानीय प्रशासन को मेले की हार्दिक शुभकामनाएं दीं और कहा कि यह मेला न केवल एक धार्मिक आयोजन है, बल्कि उत्तराखण्ड की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत और लोक आस्था का जीवंत प्रतीक है।

मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में कहा कि जागेश्वर धाम देवभूमि उत्तराखण्ड की पौराणिक और धार्मिक परंपराओं का केंद्र है, जिसकी महिमा देशभर में फैली हुई है। श्रावणी मेला इस धाम की अध्यात्मिक शक्ति का परिचायक है, जो लाखों श्रद्धालुओं को आस्था, सेवा और संस्कारों से जोड़ता है।

उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देशभर में हो रहे सांस्कृतिक पुनर्जागरण का उल्लेख करते हुए कहा कि श्रीराम जन्मभूमि मंदिर अयोध्या, काशी विश्वनाथ कॉरिडोर, महाकाल लोक, केदारनाथ-बदरीनाथ पुनर्निर्माण परियोजना जैसे कार्य हमारी सांस्कृतिक पहचान को वैश्विक मंच पर पुनः स्थापित कर रहे हैं। इस दिशा में उत्तराखण्ड सरकार भी अपनी भूमिका बखूबी निभा रही है।

मुख्यमंत्री ने बताया कि मानसखण्ड मंदिर माला मिशन के तहत कुमाऊं क्षेत्र के प्रमुख धार्मिक स्थलों के संरक्षण और सौंदर्यीकरण के लिए राज्य सरकार निरंतर कार्य कर रही है। जागेश्वर मास्टर प्लान के पहले चरण के लिए ₹146 करोड़ की मंजूरी दी गई है और दूसरे चरण की परियोजनाएं भी स्वीकृत हो चुकी हैं। उन्होंने कहा कि धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए अल्मोड़ा जिले में कोसी नदी के किनारे 40 किमी लंबा साइकिल ट्रैक, शीतलाखेत को ईको-टूरिज्म हब, द्वाराहाट और बिनसर को आध्यात्मिक पर्यटन स्थलों के रूप में विकसित किया जा रहा है।

मुख्यमंत्री ने राज्य की प्रगति का उल्लेख करते हुए कहा कि नीति आयोग की रिपोर्ट के अनुसार उत्तराखण्ड ने सतत विकास लक्ष्यों में देश में प्रथम स्थान प्राप्त किया है, जो राज्य की नीतिगत प्रतिबद्धता और जनसहभागिता का प्रमाण है। उन्होंने बताया कि राज्य की बेरोजगारी दर राष्ट्रीय औसत से कम हो चुकी है और बीते चार वर्षों में 24,000 से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरियां दी गई हैं।

धार्मिक-सांस्कृतिक मूल्यों की रक्षा पर बोलते हुए मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि सरकार ने धर्मांतरण विरोधी सख्त कानून, समान नागरिक संहिता (UCC) और ऑपरेशन कालनेमी जैसे कठोर कदम उठाए हैं, ताकि देवभूमि की पहचान सुरक्षित रहे और सामाजिक समरसता बनी रहे।

कार्यक्रम में केंद्रीय राज्य मंत्री अजय टम्टा, विधायक मोहन सिंह मेहरा, मंदिर प्रबंधन समिति के उपाध्यक्ष नवीन भट्ट, जिलाधिकारी अल्मोड़ा आलोक कुमार पांडेय, और मुख्य विकास अधिकारी रामजी शरण शर्मा सहित कई अधिकारी व श्रद्धालु उपस्थित रहे। मुख्यमंत्री ने विश्वास जताया कि श्रावणी मेला श्रद्धालुओं के लिए आध्यात्मिक अनुभूति का अवसर बनेगा और जागेश्वर धाम उत्तराखण्ड की सांस्कृतिक समृद्धि को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाएगा।

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