Uttarakhand Rain Alert: अतिवृष्टि पर सीएम धामी की सतर्क निगरानी: आपातकालीन केंद्र से प्रदेशभर की स्थिति की समीक्षा, चारधाम यात्रा अस्थायी रूप से रोकी गई

Uttarakhand Rain Alert: अतिवृष्टि पर सीएम धामी की सतर्क निगरानी: आपातकालीन केंद्र से प्रदेशभर की स्थिति की समीक्षा, चारधाम यात्रा अस्थायी रूप से रोकी गई
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने रविवार को देहरादून स्थित राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र पहुंचकर प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में हो रही भारी वर्षा और उससे उत्पन्न हालात का गहन जायजा लिया। मानसून की गंभीरता को देखते हुए मुख्यमंत्री ने आगामी दो माह तक सभी प्रशासनिक एवं सरकारी तंत्र को 24 घंटे अलर्ट मोड पर रहने के निर्देश दिए हैं। साथ ही उन्होंने स्पष्ट किया कि अधिकारी ग्राउंड पर सक्रिय रूप से मौजूद रहकर राहत और बचाव कार्यों की निगरानी करें।
चारधाम यात्रा पर विशेष ध्यान देते हुए मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारियों को श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने, भोजन, दवा और बच्चों के लिए दूध की आपूर्ति जैसे सभी आवश्यक इंतजामों को सुदृढ़ करने के निर्देश दिए। लगातार हो रही वर्षा और संभावित खतरे को देखते हुए चारधाम यात्रा को अगले 24 घंटे के लिए अस्थायी रूप से रोक दिया गया है।
सीएम धामी ने गर्भवती महिलाओं की सुरक्षा को लेकर भी विशेष चिंता व्यक्त की और सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिया कि सितंबर तक जिन महिलाओं की डिलीवरी संभावित है, उनका डाटाबेस तैयार कर प्रसव पूर्व उन्हें समय पर अस्पताल पहुंचाने के लिए समुचित व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। उन्होंने कहा कि जच्चा और बच्चा दोनों की सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता होनी चाहिए।
मुख्यमंत्री ने उत्तरकाशी के बड़कोट क्षेत्र में बादल फटने की घटना का जिक्र करते हुए अधिकारियों को लापता मजदूरों के रेस्क्यू अभियान को और तेज करने का निर्देश दिया। अब तक 29 में से 20 मजदूर सुरक्षित निकाले जा चुके हैं जबकि दो शव बरामद हुए हैं। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और जिला प्रशासन का सर्च ऑपरेशन युद्धस्तर पर जारी है। इसके साथ ही रुद्रप्रयाग में हुए वाहन हादसे में लापता लोगों की तलाश तेज करने के भी निर्देश दिए गए हैं।
मुख्यमंत्री ने नदियों, नालों और गदेरों के आसपास रहने वाले लोगों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित करने की सख्त हिदायत दी। जिन स्थानों पर निर्माण कार्य चल रहे हैं, वहां कामगारों और निवासियों की सुरक्षा भी सुनिश्चित करने को कहा गया है। मुख्यमंत्री ने सड़कों की स्थिति की जानकारी लेते हुए कहा कि जहां भी सड़कों को नुकसान पहुंचा है, वहां फौरन मरम्मत कार्य शुरू किया जाए और जेसीबी व अन्य उपकरणों की पर्याप्त उपलब्धता हर संवेदनशील क्षेत्र में सुनिश्चित की जाए।
मुख्यमंत्री ने नदियों के बहाव से रास्ता बदलने की आशंका वाले क्षेत्रों में चैनलाइजेशन और सुरक्षात्मक प्रबंधन के निर्देश भी दिए ताकि जान-माल की हानि से बचा जा सके।
बैठक में मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन, प्रमुख सचिव आर.के. सुधांशु, सचिव शैलेश बगोली, आईजी गढ़वाल राजीव स्वरूप, गढ़वाल कमिश्नर विनय शंकर पाण्डेय, अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी आनंद स्वरूप और अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे। सभी जिलाधिकारी वर्चुअल माध्यम से बैठक से जुड़े और अपने जिलों की स्थितियों की जानकारी साझा की।
मुख्यमंत्री ने इस बैठक में यह स्पष्ट कर दिया कि राज्य सरकार मानसून की किसी भी आपदा से निपटने के लिए पूर्णत: तैयार है और प्रत्येक नागरिक की सुरक्षा उसकी प्राथमिकता है।